गीता के सभी 18 अध्यायों का सार केवल 18 वाक्यों में प्रस्तुत किया है।
वन लाइनर गीता -
*अध्याय 1 - गलत सोच ही जीवन की एकमात्र समस्या है।*
*अध्याय 2 - सही ज्ञान ही हमारी सभी समस्याओं का अंतिम समाधान है।*
*अध्याय 3 - निःस्वार्थता ही प्रगति और समृद्धि का एकमात्र रास्ता है।*
*अध्याय 4 - प्रत्येक कार्य प्रार्थना का कार्य हो सकता है।*
*अध्याय 5 - व्यक्तित्व के अहंकार को त्यागें और अनंत के आनंद का आनंद लें।*
*अध्याय 6 - प्रतिदिन उच्च चेतना से जुड़ें।*
*अध्याय 7 - आप जो सीखते हैं उसे जियो।*
*अध्याय 8 - अपने आप को कभी मत छोड़ो।*
*अध्याय 9 - अपने आशीर्वाद को महत्व दें।*
*अध्याय 10 - चारों ओर दिव्यता देखें।*
*अध्याय 11 - सत्य को वैसा ही देखने के लिए पर्याप्त समर्पण रखें जैसा वह है।*
*अध्याय 12 - अपने मन को उच्चतर में लीन करें।*
*अध्याय 13 - माया से अलग हो जाओ और परमात्मा से जुड़ जाओ।*
*अध्याय 14 - ऐसी जीवन शैली जिएं जो आपके दृष्टिकोण से मेल खाती हो।*
*अध्याय 15 - देवत्व को प्राथमिकता दें।*
*अध्याय 16 - अच्छा होना अपने आप में एक पुरस्कार है।*
*अध्याय 17 - सुखद पर अधिकार का चयन करना शक्ति का प्रतीक है।*
*अध्याय 18 - जाने दो, हम ईश्वर के साथ मिलन की ओर बढ़ें।*
(इस सिद्धांत में से प्रत्येक पर आत्मनिरीक्षण करें)
ॐ तत्सत्
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