लखनऊ । उत्तर प्रदेश में कोरोना को देखते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने दसवीं तक के स्कूलों में 16 जनवरी तक अवकाश घोषित करने के निर्देश दिये हैं।
मुख्य सचिव के नाम से जारी एक चिट्ठी में स्कूलों में छुट्टी किए जाने को लेकर एक बड़ी शर्त का जिक्र है। वायरल हुई इस चिट्ठी में शर्त है कि कक्षा 10 तक के स्कूल तब बंद किए जाएंगे, जब जब जिले में कोरोना के एक्टिव मरीजों की संख्या 1000 होगी। इस मुद्दे पर सीनियर आईएएस अफसर अपर मुख्य सचिव सूचना नवनीत सहगल से बात की गई तो उन्होंने कहा कि स्कूल बंद हैं। हजार केस हों या न हों, तब भी स्कूल बंद होंगे।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रदेश के कक्षा 10 तक के स्कूल अब 16 जनवरी तक बंद रखने के निर्देश दिए हैं। वहीं कक्षा 11-12 की कक्षाएं ऑनलाइन संचालित की जाएंगी। उन्होंने कहा कि 11-12वीं के विद्यार्थियों को केवल टीकाकरण के लिए स्कूल बुलाया जाए। टीकाकरण के अगले दिन इन विद्यार्थियों को अवकाश दिया जाए और शेष अवधि में 11-12 की कक्षाएं ऑनलाइन माध्यम से संचालित की जाएं। बुधवार को कुछ जिलों में यह भ्रम फैल गया कि स्कूलों में छुट्टियां तभी की जाएंगी जब जिलों में कोरोना संक्रमण के 1000 से ज्यादा केस होंगे।
प्रदेश में मंगलवार को 992 मरीज मिले थे और एक्टिव केस की संख्या 3173 थी, लेकिन बुधवार को इसमें बड़ा इजाफा हुआ। जाचें गए 1922430 सैंपल में 2038 की रिपोर्ट पॉजिटिव पाई है। अब तक कुल 937993314 सैंपल की जांच की गई है। इसी तरह बीते 24 घंटे में 51 लोग कोविड को मात देने में कामयाब रहे हैं। अब तक कुल 1688058 कोविड से ठीक हुए हैं। शासन की ओर से निर्देश दिया गया कि मरीजों को भर्ती करने से लेकर होम आइसोलेशन वाले मरीजोंको घर-घर दवा उपलब्ध कराने के पुख्ता इंतजाम किए गए। स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव अमित मोहन प्रसाद ने बताया कि सभी अस्पतालों में निशुल्क जांच की सुविधा है। जिन लोगों में लक्षण मिले वे तत्काल जांच करा सकते हैं। उन्होंने बताया कि गौतमबुद्ध नगर में ही एक हजार से अधिक एक्टिव केस हैं। प्रदेश के 33 जिले में 10 से कम एक्टिव केस हैं।
प्रदेश में कोविड की चपेट में आने वाले मरीज होम आइसोलेशन 14 के बजाय सात दिन में खत्म कर सकेंगे। केंद्र सरकार की ओर से जारी गाइडलाइन के आधार पर प्रदेश के सभी जिलाधिकारियों एवं मुख्य चिकित्साधिकारियों को इस संबंध में निर्देश दिया गया है। इसमें लक्षणविहीन और हल्के लक्षण वाले मरीज सात दिन में आइसोलेशन खत्म कर सकेंगे। प्रदेश में दूसरी लहर के दौरान अस्पतालों में भर्ती मरीजों को 14 दिन के बजाय सात दिन में डिस्चार्ज किया गया। हालांकि उन्हें अगले सात दिन तक होम आइसोलेशन में रहने का निर्देश दिया गया था।
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