मंगलवार, 6 अक्टूबर 2020

निजीकरण टला, विद्युत कर्मचारियों की हड़ताल खत्म

लखनऊ l बिजली कर्मचारियों ने अपनी हड़ताल फिलहाल स्‍थगित कर दी है। हड़़ताल से उत्‍तर प्रदेश के तमाम शहरों में हाहाकार मच गया था। कार्य बहिष्‍कार के दूसरे दिन बद से बदतर हुए हालात के मद्देनज़र यूपी सरकार ने निजीकरण का फैसला फिलहाल तीन महीने के लिए टाल दिया है। इसके साथ ही कर्मचारियोंं ने अपनी हड़ताल खत्‍‍म कर दी। कहा जा रहा है कि अब इन तीन महीनोंं कोई न कोई समाधान खोज लिया जाएगा। 


बताया जा रहा है कि सरकार और बिजली कर्मचारी संयुक्‍त परिषद के बीच पांच बिंदुओं पर सहमति बनी है। तय हुआ है कि फिलहाल बिजली विभाग का निजीकरण नहीं होगा। यदि कभी निजीकरण हुआ तो पहले बिजली विभाग के इंजीनियरों और कर्मचारियों की सहमति ली जाएगी। इसके अलावा अगले 15 जनवरी 2021 तक लगातार समीक्षा होगी। इसके साथ ही विभाग में भ्रष्‍टाचार खत्‍म करने, कंपनियों का घाटा कम करने, राजस्‍व वसूली बढ़ाने और बिलिंग सिस्‍टम को दुरुस्‍त करने में भी बिजली कर्मचारी संयुक्‍त परिषद अपनी भूमिका निभाएगा। इस बिंदुओं पर सहमति बनने के बाद बिजली कर्मचारी संयुक्‍त परिषद ने हड़ताल खत्‍म की घोषणा की। इसके बाद सभी कर्मचारी काम पर लौट गए। 


हालांकि हड़ताल खत्‍म होने के बाद भी यूपी के कई शहरों में देर रात तक बिजली नहीं आई थी। बिजली ठप होने की वजह से पानी की आपूर्ति भी बंद रही। उपभोक्‍ताओं ने दो दिन से दैनिक जीवन की आवश्‍यकताएं पूरी न होने की शिकायत की। प्रतियोगी छात्रों ने कहा कि उन्‍हें रात-रात भर जागना पड़ रहा है। नींद पूरी नहीं हो रही। बिजली पानी ठप होने की वजह से दिनचर्या के काम निपटाने में भी दिक्‍कत आ रही है। उन्‍होंने जल्‍द से जल्‍द बिजली आपूर्ति को सामान्‍य करने की मांग की। 


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