मुजफ्फरनगर । इस बार श्राद्ध खत्म होने के बाद 18 सितंबर से अधिकमास के कारण शारदीय नवरात्रि 17 अक्टूबर से प्रारंभ होने वाले हैं । इस बार मां दुर्गा घोड़े पर सवार होकर आ रही हैं। उनका प्रस्थान भैंसे पर होगा। यह उथल पुथल और युद्ध एवं रोग के संकेत दे रहा है।
नवरात्र पर मां दुर्गा की पूजा की तैयारी चल रही है। देवीभाग्वत पुराण के अनुसार मां दुर्गा के आगमन के अलग अलग वाहन हैं और उनके वाहन से भविष्य में आने वाली घटनाओं का संकेत भी मिलता है। इसके अनुसार माना जाता है कि यदि नवरात्रि की शुरुआत सोमवार या रविवार से हो तो माता हाथी पर सवार होकर आएंगी। कलश स्थापना यदि शनिवार या मंगलवार को हो तो माता घोड़े पर सवार होकर आती है। यदि बुधवार से नवरात्रि शुरू होती है तो मां नाव को अपनी सवारी बनाती हैं। गुरुवार अथवा शुक्रवार को नवरात्रि शुरू होने से माता डोली पर आती हैं।
साल 2020 में दुर्गा पूजा और नवरात्रि की शुरुआत शनिवार से होने वाली है।
इस द्रष्टि से इस बार मां दुर्गा घोड़े पर सवार होकर आ रही हैं।
मां दुर्गा का घोड़े पर आना कुछ अच्छे संकेत नहीं दे रहा है। इससे पड़ोसी देशों के साथ विवाद व युद्ध के हालात बन सकते हैं। राजनीति तथा सत्ता में उथल-पुथल की आशंका है। इसके साथ ही रोग और दुर्घटनाएं संभव हैं । मां की विदाई भी भैंसे पर हो रही है और यह सामाजिक और राजनीतिक नजरिए से शुभ नहीं है। ऐसे में नवरात्र पर मां दुर्गा की आराधना कष्टों से मुक्ति दिलाएगी।
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