मंगलवार, 18 अगस्त 2020

गणेश चतुर्थी : ये करेंगे तो गणपति देंगे सुख और समृद्धि



इस बार गणेश चतुर्थी  22 अगस्त को मनाई जाएगी कोरोना काल में इस बार गणेश चतुर्थी पर पांडाल तो नहीं सजेंगे, लेकिन गणेश चतुर्थी पर गणेश भगवान की पूजा घरों में की जाएगी।  हिंदू पंचांग के अनुसार 22 अगस्त को दोपहर 12 बजकर 22 बजे से शाम 4 बजकर 48 बजे तक चर, लाभ और अमृत के चैघड़िया मुहूर्त हैं। इनमें से किसी भी समय आप गणेश भगवान की स्थापना कर सकते हैं।  
गणेश चतुर्थी के दिन गणेश जी की स्थापना हिंदी पंचांग के अनुसार करनी चाहिए। इसलिए चौघड़िया मुहूर्त में गणेश जी की स्थापना करें।   यदि इसदिन भूलवश चंद्रमा के दर्शन हो भी जाएं तो इस दोष निवारण के दिन अगले दिन गरीबों को खाने की सफेद चीजों का दान करना चाहिए। गणेश जी को दक्षिणा अर्पित कर उन्हें 21 लड्डूओं का भोग लगाया जाता है। गणेश प्रतिमा के पास पांच लड्डू रखकर बाकी ब्राह्मणों में बांट दिये जाते हैं।  गणेश चतुर्थी के दिन उन्हें सिंदूर लगाना शुभ माना जाता है। गणपति  बप्पा के माथे पर हर दिन लाल सिंदूर से तिलक लगाएं।  पूजा के दौरान दूर्वा अर्पित करना चाहिए। हालांकि गणेश चतुर्थी के दिन दूर्वा अर्पित करने का विशेष महत्व है। श्रीगणेश को लाल पुष्प अर्पित करना शुभ होता है। अगर लाल फूल संभव नहीं है तो कोई भी पुष्प अर्पित कर सकते हैं। हालांकि पूजन के दौरान ध्यान रखें कि भगवान गणेश को भूलकर भी तुलसी अर्पित न करें। गणेश को लड्डू और मोदक प्रिय है। ऐसे में गणेश चतुर्थी के दिन गणपति को मोदक और लड्डू का भोग लगाएं।  पूजा के बाद आरती जरूर करनी चाहिए। कहते हैं कि ऐसा करने से पूजा का फल शीघ्र मिलता है।  


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